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आइकॉनिक गोल्ड अवार्ड्स 2023 का आयोजन 18 मार्च को मुंबई में होगा

सिने जगत के प्रतिष्ठित आइकॉनिक गोल्ड अवार्ड्स 2023 की घोषणा हो चुकी है। बहुप्रतीक्षित आइकॉनिक गोल्ड अवार्ड्स-2023  का आयोजन 18 […]

डॉक्टर भास्कर शर्मा बने आल इंडिया सेक्रेटरी मेडिकल विंग

विश्व प्रसिद्ध होम्योपैथिक चिकित्सक डॉ भास्कर शर्मा पीपल फोरम ऑफ इंडिया  के आल इंडिया सेक्रेटरी मेडिकल विंग  बनाए गए हैं […]

बुलंदियों की नई परिभाषा लिख रहे हैं डॉ. भास्कर शर्मा

लगन, पूर्ण मनोयोग से किया गया परिश्रम तथा विषम परिस्थितियों में भी संयम बनाए रखना निश्चय ही भीड़ से अलग […]

विश्व हिन्दु महासंघ गुजरात के अध्यक्ष श्री नवीन कुमठ द्वारा सूरत की अग्रणि छह कंपनियों में भव्य स्वास्थ्य जाँच शिविर का आयोजन|

44 देशों में कार्यरत अन्तर्राष्ट्रीय गैर राजनीतिक समुदाय होनेवाले विश्व हिन्दु महासंघ तथा सूरत की छह अग्रणि रिअल इस्टेट, ऑटोमोबाईल, […]

परमाणु डिफेन्स संस्थान देहरादून के छात्रों द्वारा उत्तराखंड गढ़वाल क्षेत्र की सबसे ऊँची चोटी नाग टिब्बा पर लहराया तिरंगा

परमाणु डिफेन्स संस्थान देहरादून के छात्रों द्वारा 1 फरवरी को उत्तराखंड गढ़वाल क्षेत्र की सबसे ऊँची चोटी नाग टिब्बा को फ़तेह करके तिरंगा लहराया और उनके द्वारा हमारे देश के वीर शहीदों को ये सफलता समर्पित की गयी । गढ़वाल क्षेत्र में स्थित नाग टिब्बा चोटी उत्तराखंड की सबसे ऊंची चोटियों में से एक है। इसकी ऊंचाई 9,915 फ़ीट है। परमाणु डिफेन्स संस्थान के सदस्यों द्वारा तिरंगा लहराते हुए एक्सक्लूसिव फोटो-वीडियो उपलब्ध करवाए। उनका कहना है कि उनके लिए ये अत्यंत गौरव का पल है। इससे पहले भी परमाणु संस्थान के छात्र इस तरह के ट्रैकिंग टूर पर जाते रहते हैं। इस ट्रैकिंग दल में लगभग 40 छात्रों और संस्थान के शिक्षकों द्वारा चढ़ाई की गयी थी। नाग टिब्बा चोटी 9915 फ़ीट की ऊंचाई पर है। परमाणु संस्थान के अधिकारियों द्वारा बताया गया कि नाग टिब्बा ट्रेक दुनिया भर के साहसिक प्रेमियों के लिए एक शानदार स्थान है। यहां से आपको स्वर्गरोहिणी, बंदरपूंछ, काला नाग, श्रीखंड महादेवऔर गंगोत्री जैसी बर्फ से ढकी हिमालय पर्वतमालाओं का 100 डिग्री का नजारा दिखाई देता है।नाग टिब्बा में नाग का अर्थ नाग देवता और ‘टिब्बा का अर्थ ऊंच शिखर या पहाड़ से है। मान्यता के अनुसार इस मंदिर में अधिकतर ग्रामीण क्षेत्रों के लोग अपने पालतू जानवरों की सुरक्षा के लिए यहां पर प्रार्थना करने आते रहते हैं। नाग टिब्बा की ट्रेकिंग करते समय पगडंडी के एक तरफ पहाड़ों की ऊंची चोटियों के साथ-साथ बहुत सारे चीड़ और देवदार के वृक्ष देखने को मिलें एवं दूसरी तरफ एक गहरी खाई, जिसे देखते हुए ट्रेक करने का एक अलग ही अंदाज होता है। यह ट्रेक मुख्य रूप से पहाड़ों पर कैंपिंग करने वालों और पहाड़ों पर खुद से खाना बनाकर खाने वालों की सबसे पहली पसंद है।ज्यादातर छात्रों के लिए इस तरह के ट्रेक पर जाना बहुत ही बेहतरीन अनुभव था और कई छात्रों के लिए पहला भी / संस्थान के एक अधिकारी आशीष सक्सेना व् सदस्य नीतू द्वारा बताया गया की यहाँ का मौसम काफी ठंडा था और रात में तापमान -10 डिग्री से भी ऊपर दर्ज किया गया जिसके लिए सभी छात्रों को गरम कपडों और जैकेट्स की व्यवस्था करवाई गयी और दल के सभी सदस्यों के लिए गरम जल की व्यवस्था भी की गयी / 31 जनवरी की सुबह 7 बजे देहरादून से परमाणु संस्थान के छात्र और शिक्षकों का दल बस द्वारा नागटिब्बा चोटी के लिए प्रस्थान किया और लगभग दोपहर 12 बजे पंतवारी गाँव पहुंच गए जहा थोड़ी देर आराम करने और लंच करने के पश्चात परमाणु संस्थान के 40 सदस्यीय दल ने वहां के लोकल गाइडस की मदद से चोटी के तरफ चलना शुरू किया और लगभग 4 घंटे की लगातार चढाई के पश्चात पूरा ट्रेकिंग दल बेस कैंप 1 पर लगभग शाम को 5:00 बजे पहुंचने में सफल हो पाया / जहाँ पूरे दल के लिए चायपान और नाश्ते की व्यवस्था की गयी /रात्रि में बोन फायर के सामने सभी छात्रों व् दल के अन्य सदस्यों द्वारा अंताक्षरी व् नाच गाने का लुत्फ़ उठाते हुए अपनी थकान मिटाई ! 1 फरवरी की सुबह करीब 5:30 बजे दल के सभी सदस्यों द्वारा नाग टिब्बा चोटी की तरफ चलना प्रारम्भ करना शुरू किया गया तथा लगभग 4 घंटे की पुनः कठिन चढाई के पश्चात सबसे पहले नाग टिब्बा के प्रसिद्ध नाग मंदिर में पहुंचने और दर्शन करने का सौभाग्य प्राप्त हुआ जहाँ पर चारों तरफ बर्फ से ढकी हुई सुंदर चोटियों किसी का भी मन मोह लेने के लिए काफी थी / जिसका सभी छात्रों द्वारा भरपूर आनंद उठाया गया /नाग मंदिर में कुछ देर विश्राम करने के पश्चात 40 सदस्यीय दल ने नाग टिब्बा समिट की तरफ प्रस्थान किया और लगभग एक घंटे की पुनः ट्रैकिंग के पश्चात नाग टिब्बा की बर्फीली चोटी पर परमाणु संस्थान के छात्रों और शिक्षकों द्वारा तिरंगा लहराकर इस दो दिवसीय ट्रेक को सफलतापूर्वक पूर्ण किया / नाग टिब्बा के लोकल गाइडस के अनुसार ये बेहद मुश्किल और शरीर को थका देने वाला टूर होता है लेकिन इन बच्चो और स्टाफ द्वारा बहुत ही बेहतर और कम समय में इस टूर को पूर्ण किया गया जो वाकई काबिले तारीफ था इसके अलावा नाग टिब्बा शिखर के नजदीक काफी बर्फ भी देखी गयी ।और रात का तापमान तेजी से गिर कर      -10 डिग्री तक भी पहुंच गया था। हालांकि परमाणु संस्थान के छात्रों और सभी स्टाफ द्वारा इस ट्रिप पर आने से पहले देहरादून में भरपूर ट्रेनिंग की गयी थी, जिससे सभी रिकॉर्ड समय पर नाग टिब्बा समिट पर पहुंच पाए। इस अभियान में पंतवारी विलेज के लोकल गाइड्स , सभी अभिभावकों और परमाणु संसथान के स्टाफ मेंबर्स द्वारा भी काफी सहयोग किया गया!

मॅग वर्ल्ड एक्सपो 2023: भारत के मोबाइल उपकरण और गैजेट्स के लिए एक अग्रणी मंच

इस कार्यक्रम में मोबिला, केडीएम्, प्ले , यूबॉन , वर्णी , टेस्को, बी के स्टार, द प्लैटिनम मॉल, इननोटेक, राइस […]

CCL 2023 में मनोज तिवारी, निरहुआ और आनंद विहारी यादव की भोजपुरी दबंग धमाल मचाने को है तैयार

वैश्विक महामारी कोरोना की वजह से 3 साल बाद एक बार फिर से सेलिब्रिटी क्रिकेट लीग यानी सीसीएल का नया […]

CCL 2023 में मनोज तिवारी, निरहुआ और आनंद विहारी यादव की भोजपुरी दबंग धमाल मचाने को है तैयार

लखनऊ: वैश्विक महामारी कोरोना की वजह से 3 साल बाद एक बार फिर से सेलिब्रिटी क्रिकेट लीग यानी सीसीएल का […]

नौकरी छोड़ शुरू किया बिजनेस: करोड़ों का टर्नओवर, महिलाओं को दे रहे रोजगार

लगभग 30 साल पहले एक नौजवान ने सीकर की गलियों से निकल कर सूरत के भीड़-भाड़ वाले कपड़ा बाज़ार में […]

डॉ. प्रज्ञा शर्मा’ ने कहा….”जिन्हें जुनून हो लहरों से जंग करने का, समुंदरों में वही रास्ता बनाते हैं

मुंबई: गेटवे ऑफ इंडिया पर आयोजित ग्यारहवें अखिल भारतीय मुशायरा ‘जश्न-ए-हिंदुस्तान’ में शायरा डॉ. प्रज्ञा शर्मा ने अपनी ग़ज़ल के […]